What is Software | सॉफ्टवेयर क्या है?
Thank You
सॉफ्टवेयर क्या है? सॉफ्टवेयर कितने प्रकार के होते हैं?
Software कई प्रोग्रामों का समूह होता है, जिसके द्वारा कार्यों को किया जा सकता है। कम्प्यूटर के दो भाग होते हैं, हार्डवेयर और सॉफ्टवेयर। हार्डवेयर कंम्प्यूटर के भौतिक भाग होते हैं जिन्हें हम छू सकते हैं जो एक निश्चित कार्य के लिए होते हैं, जिसके लिए उन्हें बनाया गया है जैसे कीबोर्ड, माउस, मॉनिटर, सीपीयू, प्रिंटर, प्रोजेक्टर आदि। सॉफ्टवेयर प्रोग्राम का समूह है जो इन हार्डवेयर के कार्यों को निर्धारित करता है जैसे ऑपरेटिंग सिस्टम, वर्ड प्रोसेसर आदि आते हैं, जो हार्डवेयर के साथ मिलकर काम करते हैं। सॉफ्टेवयर के बगैर कंप्यूटर का कोई अस्तित्व नहीं है जब हम कीबोर्ड, माउस, प्रिंटर व इंटरनेट आदि का प्रयोग करते हैं, तब इन सब को चलाने के लिए सॉफ्टेवयर की आवश्यकता होती है।
सॉफ्टवेयर का उपयोग कंप्यूटर को Control करने, Application को Develop करने और चलाने के लिए किया जाता है। इसमें Operating System, Database Manager, Compiler, Web Server , Router Operating system और Network Device के लिए Control जैसे प्रोग्राम शामिल हैं।
सॉफ्टेवयर के प्रकार-
सॉफ्टवेयर के तीन प्रमुख प्रकार हैं, System Software, Application Software, Utility Software
सिस्टम सॉफ्टवेयर(System Software):
System Software एक ऐसा सॉफ्टेवयर है जो हार्डवेयर को Manage और Control करता है ताकि Application Software अपना कार्य पूरा कर सके। यह कम्प्यूटर सिस्टम का आवश्यक भाग होता है।
ऐप्लीकेशन सॉफ्टेवयर(Application Software):
Application Software कम्प्यूटर सॉफ्टेवयर का एक subgroup है जो काम को करने के लिए प्रयोग किया जाता हैं।
Application Software कम्प्यूटर के लिए बहुत उपयोगी होते हैं। यदि कम्प्यूटर में कोई भी Application Software नहीं है तो कम्प्यूटर पर कोई भी कार्य नहीं कर सकते हैं। Application Software के अंतर्गत कई प्रोग्राम आते हैं।
- Utility Software: Utility Software को Service Program के नाम से भी जाना जाता है। यह एक प्रकार का कम्प्यूटर सॉफ्टवेयर है इसे विशेष रूप से कम्प्यूटर को systematic करने में सहायता के लिए डिजाइन किया गया है। ये वो सॉफ्टवेयर होते हैं हमारे कम्प्यूटर की Performance बढ़ाते तथा उन्हें और बेहतर बनाते हैं जैसे- Antivirus, Disk Defragmener, Disk Cleanup, Backup software इत्यादि।
- Operating System: ऑपरेटिंग सिस्टम के माध्यम से ही हम अपनी बात कम्प्यूटर हार्डवेयर तक पहुंचा सकते हैं या हार्डवेयर को कमांड दे सकते हैं। ऑपरेटिंग सिस्टम हार्डवेयर और हमारे यानि यूजर्स के बीच एक पुल का काम करता है। जैसे- Windows, Linux, Android आदि।
- Assembler: Assembler एक प्रकार का Translator है जो असेम्बली भाषा को मशीन भाषा में Translate करता है।
- Compiler: Compiler वो प्रोग्राम होता है जो किसी High Level Language में लिखे गये प्रोग्राम को Low Level Language(मशीन भाषा) में Translate करता है। Compiler पूरे प्रोग्राम को एक बार में रीड कर लेता है और जो भी एरर होते हैं उनकी एक लिस्ट लाइन नंबर के साथ दिखा देता है। जिससे यह पता चल जाता है कि किस लाइन में कौन सी गलती है।
- Interpreter: Interpreter भी High Level Language में लिखे गये प्रोग्राम को Low Level Language में Translate करता है बस फर्क सिर्फ इतना होता है कि Compiler पूरे प्रोग्राम को एक बार में रीड कर लेता है जबकि Interpreter प्रोग्राम को Line-by-Line चेक करता है। अगर किसी लाइन में एरर आती है तो वह प्रोग्राम वहीं पर रुक जाता है। यानि हमें पहले उस लाइन को ठीक करना होता है तब ही आगे की लाइन Execute होगी।
हमें सॉफ्टवेयर की आवश्यकता क्यों होती है?
दोस्तों यह बात तो आप जानते ही हैं कि कम्प्यूटर, हार्डवेयर और सॉफ्टवेयर से मिलकर बना है । अगर आप इसमें से सॉफ्टवेयर को निकाल दे या फिर सॉफ्टवेयर को इंस्टॉल ही न करें तो कम्प्यूटर सिर्फ एक डिब्बे के समान है जैसे मान लीजिए की एक ट्रेन होती है उसमें इंजन होता है और डिब्बे भी होते हैं अगर ट्रेन है पर उसकी पटरी ही न हो तो ट्रेन किसपे दौड़ेगी। ट्रेन को चलाने के लिए पटरी का होना बहुत जरूरी होता है। ठीक उसी प्रकार कम्प्यूटर में भी हार्डवेयर आपकी ट्रेन के समान है और सॉफ्टवेयर पटरी है। अगर सॉफ्टवेयर ही न हो तो हार्डवेयर किसी काम का नहीं है। कम्प्यूटर का हार्डवेयर तब तक काम नहीं करेगा जब तक उसमें ऑपरेटिंग सिस्टम सॉफ्टवेयर न लोड कर दिया जाए। हमें ऑपरेटिंग सिस्टम के अलावा कुछ और सॉफ्टवेयर्स की जरूरत पड़ती है जैसे एक्सेल शीट में टेबल डाटा व चार्ट बनाने के लिए, एमएस वर्ड, डॉक्यूमेंट बनाने के लिए , फोटो पे काम करने के लिए फोटोशॉप इत्यादि। इन्हें हम Application Software कहते हैं।
अगर मान लीजिए कि आपको अपने कम्प्यूटर का बैकअप लेना हो तो तो आपको किसी बैकअप सॉफ्टवेयर और अगर आपके कम्प्यूटर में वायरस आ गया हो तो आपके एंटी वायरस की जरूरत होगी । हमारा कम्प्यूटर अच्छा Performance दे सके इसके लिए जो छोटे-छोटे सॉफ्टवेयर की जरूरत पड़ती है तो ऐसे सॉफ्टवेयर्स को ही Utility Softwares कहते हैं
दोस्तों, ये पोस्ट आपको कैसी लगा, हमें कमेंट करके जरूर बताएं। अगर कोई सुझाव देना चाहते हैं तो हमें कमेंट में जरूर बताएं। पोस्ट अच्छा लगा होतो लाइक व शेयर भी करें।
Table of Contents
ToggleWhat is the History of USB | यू0एस0बी0 का इतिहास क्या है?

जानें Computer Management की सेटिंग्स के बारे में ।

Trojan Horse Virus से कैसे बचें?

What is Blog | ब्लॉग क्या होता है?

Folder God Mode
![computer full forms abbreviations abbs network networking] OSI Model Internet whatsapp programming python javascript HTML](https://computerdigitalworld.com/wp-content/uploads/2024/08/Computer-Abbreviations-N-to-Z-1-300x158.png)
Computer Abbreviations( N to Z)

Networking Question and Answers Part 2| नेटवर्किंग प्रश्न व उत्तर भाग-2

Networking Questions | नेटवर्किंग प्रश्न

OSI Reference और TCP/IP Model क्या है?
Thank You